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अल्मोड़ा -9फरवरी-आज यहां जारी एक बयान में राज्य आंदोलनकारी ब्रह्मानन्द डालाकोटी एवं जिला पंचायत सदस्य शिवराज बनौला ने राज्य परिवहन निगम द्वारा बस किराये में बृद्धि किये जाने की तीखी आलोचना करते हुए कहा कि इस बीच न तो डीजल के दाम बढ़े हैं न निगम ने अपनी सेवाओं में कोई बृद्धि की है फिर भी बस भाड़े में बृद्धि का कोई औचित्य नहीं है। उत्तराखंड और उत्तरप्रदेश परिवहन निगम अन्य अपने पड़ोसी राज्यों से पहले ही दुगुना किराया ले रहे हैं राजस्थान में किराये की दर जहां प्रति यात्री एक रूपये प्रति किलोमीटर है तो वहीं भाजपा शासित इन दो राज्यों में 2रूपये प्रति यात्री। उत्तराखंड राज्य परिवहन निगम न तो ग्रामीण क्षेत्रों में अपनी सेवाओं में बिस्तार कर रहा है न सेवाओं सुविधाओं में सुधार कर रहा है ऐसे में किराए में बृद्धि एक प्रकार से आम जनता का शोषण है। जबकि राज्य परिवहन निगम सरकार,अपरोक्ष रूप से जनता का ही उपक्रम है उसका काम केवल मुनाफा कमाना नहीं हैं, सरकार संचालित बसों के भाड़े में बृद्धि से निजि बस,टैक्सी संचालक भी किराये की दरों में बृद्धि करैंगे जिससे निश्चित रूप से गांवों की गरीब जनता प्रभावित होगी जहां टैक्सी संचालक पहले ही तीन से चार रूपये प्रति यात्री- प्रति किलोमीटर या मनमाना किराया वसूल कर रहे हैं दोनों नेताओं ने बढ़ी दरैं वापस लेने के साथ साथ परिवहन निगम की सेवाएं ग्रामीण सड़कों पर भी चलाने की मांग की है जो अभी केवल दिल्ली, देहरादून या फिर अन्य राज्यों के लिए ही चलाई जा रही हैं